एलियन

“क्या हम अकेले हैं?” यह मानव जगत का सबसे बड़ा प्रश्न/रहस्य है जिसे कि अभी तक सुलझाया नहीं जा सका है। कई देश ब्रह्माण्ड के रहस्य सुलझा कर ऐसे ग्रहों की खोज में लगे हैं जहां जीवन की सम्भावना हो सके। नासा, इसरो सहित दुनियां की कई संस्थाएं अन्य ग्रहों पर जीवन के सबूतों को ढूंढ रही है क्योंकि किसी अन्य ग्रह पर जीवन की खोज कर लेना मानव इतिहास की सबसे बड़ी खोज एवं उपलब्धि होगी। कुछ वैज्ञानिकों का मानना है कि अन्य ग्रहों पर भी जीवन हो सकता है और पृथ्वी के आलावा कहीं और भी बुद्धि-जीवी (एलियन) हो सकते हैं और कुछ का तो यहाँ तक कहना है कि वो धरती पर भी आते रहते हैं जबकि कुछ अन्य वैज्ञानिक इन सब बातों से इनकार करते रहे हैं लेकिन सच तो यही है कि दुनिया के सबसे बड़े प्रश्न ‘क्या हम अकेले हैं? या फिर किसी अन्य ग्रह पर भी जीवन है?’ के जवाब की तलाश मनुष्य द्वारा अभी जारी है।

कई बार आकाश में दिखाई देने वाली अज्ञात चीजों (यू.एफ.ओ.) का सम्बन्ध भी दूसरे ग्रह से होने की बात कही जाती है, हालांकि इस पर भी अलग अलग वैज्ञानिकों का अलग अलग मत है, कई वैज्ञानिक इस अवधारणा को सिरे से खारिज करते रहे हैं जबकि ऐसे वैज्ञानिकों एवं विशेषज्ञों की भी कमी नहीं है जो यह मानते हैं कि अन्य ग्रहों पर भी जीवन है और वहां के लोग (एलियंस) यू.एफ.ओ. के जरिये धरती पर आते रहते है।

एडगर मिशेल

नासा के अंतरिक्षयात्री ने भी स्वीकारा - एलियंस होते हैं.

नासा के एक अंतरिक्षयात्री ‘एडगर मिशेल’, जो कि चाँद पर कदम रखने वाले छटे इन्सान हैं, ने भी स्वीकारा है कि एलियंस होते हैं और यू.एफ.ओ. सम्बन्धित बातें सही है। रेडियो पर दिए गए एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया कि नासा में उनके कार्यकाल के दौरान कई बार एसा हुआ है कि एलियंस ने नासा से संपर्क स्थापित किया हो, पर सरकार के दबाव के कारण इस सच को सबके सामने नहीं लाया गया, लेकिन अब धीरे धीरे यह बात सामने आ रही है। साथ ही एडगर मिशेल का यह भी कहना है कि वो(परग्रही) तकनीकी दृष्टि से हमसे आगे हैं परन्तु उन्हें अपना दुश्मन मानना गलत है। उनका कहना है कि “मैं उन खुशकिस्मत लोगों में से हूँ जिन्हें एलियंस के धरती पर आने की हकीकत के बारे में बताया गया।”

वैज्ञानिकों का मानना है कि बाह्य अंतरिक्ष में भी जीवन की उत्पत्ति और विकास की अपार संभावनाए मौजूद है. हमारी आकाशगंगा में हमारे सूर्य की तरह ही 200 अरब से अधिक तारे हैं. हमारी आकाशगंगा की चौड़ाई 1 लाख प्रकाश वर्ष तथा मोटाई करीब 20 हजार प्रकाश वर्ष है। ब्रह्मांड में ऐसी और कई अरबों आकाशगंगाये हैं। हमारी आकाशगंगा के परे दूसरी बड़ी आकाशगंगा देवयानी हमसे करीब 20 लाख प्रकाश वर्ष दूर है। ब्रह्मांड की इस अंतहीन परिधि में कहीं किसी गृह पर जीवन होने की संभावनाओं से इनकार नहीं किया जा सकता.

‘‘दूसरे ग्रह पर जीवन होने की बात से मैं इनकार नहीं करती, लेकिन मैंने कोई एलियंस नहीं देखे।’’
‘सुनीता विलियम्स
भारतीय मूल की अंतरिक्षयात्री जो की अंतरिक्ष में 195 दिन बिता चुकी है.